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आयुक्त चिकित्सा शिक्षा ने किया अम्बेडकर अस्पताल का निरीक्षण, विभागों में स्थापित मशीनों की ली जानकारी

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रायपुर। आयुक्त चिकित्सा शिक्षा (सीएमई) श्रीमती किरण कौशल ने मंगलवार को डॉ. भीमराव अम्बेडकर स्मृति चिकित्सालय रायपुर के विभिन्न विभागों का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान उन्होंने अस्पताल के भूतल (ग्राउंड फ्लोर) में स्थित आयुष्मान पंजीयन काउंटर में भीड़ कम करने के लिए आयुष्मान काउंटर की संख्या में वृद्धि करने के निर्देश दिए। सीएमई ने अम्बेडकर अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. संतोष सोनकर को मरीजों को प्रदान की जाने वाली स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए आवश्यक मशीनों एवं अन्य संसाधनों की आवश्यकता के लिए प्रस्ताव बनाकर भेजने के निर्देश दिए। उन्होंने रेडियोलॉजी विभाग में स्थापित डीआर (डिजिटल रेडियोग्राफी) एक्स रे सिस्टम को सुधारने हेतु आवश्यक प्रक्रिया पूर्ण करने के लिए विभागाध्यक्ष रेडियोलॉजी विभाग डॉ. एस. बी. एस. नेताम को निर्देशित किया। रेडियोलॉजी विभाग में स्थापित अन्य मशीनें जो सुधारने योग्य हैं उन्हें जल्द से जल्द सुधारने के लिए कहा। ओपीडी में आने वाले मरीजों की एमआरआई, सीटी स्कैन एवं सोनोग्राफी जांच में होने वाली वेटिंग को कम करने के लिए आवश्यक व्यवस्था बनाने के निर्देश दिए। विभागाध्यक्ष डॉ. एस. बी. एस. नेताम ने जानकारी दी कि इमरजेंसी में आने वाले मरीजों को सीटी स्कैन, सोनोग्राफी एवं एक्स रे जांच की सुविधा चौबीस घंटे मिलती है। इसके बाद उन्होंने डीएसए मशीन, अस्थि रोग विभाग की ओपीडी, कैंसर विभाग, आयुष्मान एंडोसर्जरी यूनिट एवं न्यू ट्रामा ओटी का निरीक्षण किया।

अधिष्ठाता चिकित्सा महाविद्यालय डॉ. विवेक चौधरी ने कैंसर विभाग में स्थापित लीनियर एक्सीलरेटर मशीन की ख़ासियतों के बारे में बताया तथा कैंसर विभाग में आने वाले मरीजों को मिलने वाली उपचार सुविधा के बारे में जानकारी दी। सीएमई ने मातृ-शिशु अस्पताल हेतु प्रस्तावित स्थल का निरीक्षण किया तथा फोरेंसिक मेडिसिन विभाग के मॉर्चूएरी (शवगृह) में चल रहे निर्माण कार्यों के सम्बन्ध में जानकारी ली। विभागाध्यक्ष फोरेंसिक मेडिसिन डॉ. स्निग्धा जैन ने निर्माणाधीन ऑटोप्सी कक्ष एवं पंचनामा कक्ष के बारे में जानकारी दी। डॉ. स्निग्धा जैन ने कहा कि ऑटोप्सी कक्ष का निर्माण कार्य पूरा हो जाने के बाद फोरेंसिक विभाग के पोस्ट ग्रेजुएट छात्रों को यहां पढ़ाने के लिए पर्याप्त स्थान उपलब्ध हो जाएगा। निरीक्षण के दौरान उनके साथ बाल्य एवं शिशु रोग विभागाध्यक्ष डॉ. ओंकार खंडवाल, बायोकेमिस्ट्री विभागाध्यक्ष डॉ. पी. के. खोडियार, डॉ. पीयूष भार्गव, डॉ. अमित भारद्वाज, पीडब्ल्यूडी विभाग के इंजीनियर एवं अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।

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