जहाज का संकट मोदी सरकार की एकाधिकार वाली नीति का परिणाम – कांग्रेस

रायपुर। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा कि एक कंपनी की हठधर्मिता के कारण आज पूरे देश में जहाजों की उड़ान का संकट पैदा हो गया है। यह मोदी सरकार के एक ही कंपनी को एकाधिकार देने की नीति परिणाम है। देश में जब से मोदी सरकार बनी है, मोदी सरकार देश के हर महत्वपूर्ण क्षेत्रों को निजी उद्योगपतियो के एकाधिकार में सौंप दिया है। प्रतिस्पर्धा में मौजूद तत्कालीन अन्य विमानन कंपनियो की उपेक्षा की गयी है। मोदी सरकार में सरकारी विमान कंपनी इंडियन एयरलाइंस को बेच दिया। 2014 के पहले देश में 5 विमानन कंपनियां काम करती थी, लेकिन मोदी सरकार बनने के बाद आज 97 प्रतिशत भारतीय उड़ानो पर केवल दो कंपनियों का कब्जा है, उसमे भी लगभग 70 प्रतिशत अकेले इंडिगो का है।
देश की जनता को आज पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की याद आ रही है। सरकार ने नियम बदला और इंडिगो ने देश की विमानन व्यवस्था को ठप्प कर दिया सरकार बेचारी बनी हुई है। आज इंदिरा गांधी होती तो इंडिगो को उसकी इस धृष्टता की सजा मिल चुकी होती इंडिगो का भारत सरकार अधिग्रहण कर चुका होता इंडिगो के कर्ताधर्ता राष्ट्रद्रोह के आरोप में जेल के सलाखों के पीछे होते। सरकार ने इंडिगो के सामने घुटने टेक कर बता दिया कि वह कितनी कमजोर है।
बैज ने कहा कि विमानन संकट एक चेतावनी है देश में कभी भी इंटरनेट संकट खड़ा हो सकता है सरकार की नीतियों के कारण आज देश का 90 प्रतिशत इंटर नेट केवल दो कंपनियों जियो और एयर टेल के पास है। मोदी सरकार ने सरकारी संचार कंपनी बीएसएनएल को अपनी नीतियो से पीछे धकेल दिया। देश का अधिकांश कोयला पावर सप्लाई पर अंबानी का एकाधिकार है। देश का सारा बंदरगाह, एयरपोर्ट, पावर और कोयला उत्खनन अडानी के कब्जे में है। मोदी सरकार ने पूरे देश की अर्थ व्यवस्था को निजी हाथों में सौप दिया है।







