जान जोखिम में डालकर स्कूल जाते हैं छोटे बच्चे, पढ़े पूरी खबर

कांकेर। अंतागढ़ विकासखंड के केसालपारा गांव के बच्चे हर दिन अपनी जान जोखिम में डालकर स्कूल जाते हैं। गांव में केवल प्राथमिक स्कूल होने के कारण माध्यमिक शिक्षा के लिए उन्हें कानागांव आना पड़ता है। इस रास्ते में नाला बड़ी बाधा है। 25 से 30 बच्चे प्रतिदिन इस नाले को पार कर कानागांव स्कूल जाते हैं। बारिश में यह नाला खतरनाक हो जाता है। नाले में तेज बहाव के कारण बच्चों का स्कूल जाना असंभव हो जाता है। इस दौरान वो लोग स्कूल नहीं जा पाते हैं। क्षेत्र के लोगों का कहना है कि सालों से इस पर पुल निर्माण की मांग की जा रही है।
गांव वालों का कहना है कि कई बार बच्चे नाले में गिर जाते हैं, बैग पानी में बह जाता है और उन्हें भीगे कपड़ों में ही स्कूल में पूरा दिन बिताना पड़ता है।
जिला पंचायत सदस्य गुप्तेश उसेंडी ने बताया कि उन्होंने इस मामले को कई बार सामान्य सभा में उठाया है। अधिकारियों को शिकायत भी की है, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई है। विधायक विक्रम उसेंडी ने पुल निर्माण का वादा जरूर किया है।
कलेक्टर निलेश कुमार महादेव क्षीरसागर ने कहा कि बारिश के कारण आवागमन में हो रही परेशानी को देखते हुए शासन और जिला प्रशासन द्वारा लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। जिले में 60 ब्रिज की जरूरत चिन्हित की गई थी। इनमे से 40 ब्रिज के लिए 150 करोड़ रुपये स्वीकृत हो चुके हैं या प्रक्रिया में हैं। शेष 20 ब्रिज, जिनमें यह स्थान भी शामिल है। 6 महीनों में स्वीकृत किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि स्कूलों की मरम्मत को लेकर भी फंड प्राप्त हुआ है।
