बस्तर में किसान प्रदर्शन और सरकारी कार्रवाई तेज
बस्तर अंचल में आज कई महत्वपूर्ण घटनाओं के बीच दिन की शुरुआत हुई। जगदलपुर में इंद्रावती नदी और किसान अधिकारों को लेकर सैकड़ों किसानों ने रैली निकाली और कलेक्ट्रेट का घेराव किया, जिसमें अवैध खनन पर रोक, नदी संरक्षण कानून, ब्याज-मुक्त लोन और वृद्ध किसानों को पेंशन जैसी मांगें शामिल थीं। दंतेवाड़ा के सुरनार गांव में सड़क सुविधा के अभाव से ग्रामीण फिर से आंदोलन की तैयारी में हैं। हिड़मा की मौत के बाद नक्सल मोर्चे पर बड़ा बदलाव आया है और बड़े कमांडर बारसे देवा के आत्मसमर्पण की चर्चाएं तेज हैं। प्रशासनिक कार्यों में भी सख्ती दिख रही है—बस्तर जिले में ई-केवाईसी प्रक्रिया 8 दिसंबर तक पूरी करने का लक्ष्य रखा गया है और कलेक्टर ने अधिकारियों को मॉनिटरिंग बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। वहीं कोंडागांव में जल जीवन मिशन के तहत लापरवाही सामने आने पर 37 ठेके रद्द कर दिए गए हैं, जिनकी कुल अनुमानित लागत 31.17 करोड़ रुपये है।





