
दुर्ग। जिले कुछ व्यापारियों ने शनिवार को शहर विधायक अरुण वोरा से मिलकर अपनी समस्याओं से अवगत कराया। इसमें व्यापारियों ने कहा कि लॉक डाउन की वजह से पिछले साढ़े 4 महीने से व्यापार-धंधा के बंद होने से थोक कपड़ा, रेडिमेड गारमेंट, मिठाई दुकान व अन्य व्यवसाय से जुड़े व्यवसाइयों के सब्र का बांध अब टूटने लगा है। इस माह भाई-बहन के प्रेम का प्रतीक पर्व राखी के अलावा छत्तीसगढ़ का प्रमुख त्यौहार तीजा-पोला भी मनाया जाएगा। इन त्योहारों में व्यापार-धंधे की हालत चौपट रहने की आशंका से व्यवसायी चिंतित हैं। व्यापार-धंधा शुरू करने की अनुमति की मांग को लेकर व्यवसायी अब लामबंद होने लगे हैं। लॉकडाउन से प्रभावित ऐसे व्यवसायिक संगठनों के प्रतिनिधिमंडल ने शनिवार को छत्तीसगढ़ स्टेट वेयरहाउस कार्पोरेशन के अध्यक्ष व विधायक अरुण वोरा से उनके पद्मनाभपुर स्थित आवास में मुलाकात की और समस्याओं से अवगत कराया। व्यापारियों के हित में व्यापार-धंधा प्रारंभ कराने की दिशा में उचित पहल करने की गुहार लगाई। व्यवसाइयों ने नगर निगम के महापौर धीरज बाकलीवाल से भी अपनी समस्या बताई। व्यवसायिक संगठनों के प्रतिनिधियों में दुर्ग थोक कपड़ा बाजार पुलगांव, रेडिमेड कपड़ा संघ, सिंधी कालोनी, इंदिरा मार्केट व अन्य व्यवसाय से जुड़े व्यापार के पदाधिकारी व सदस्य शामिल थे। व्यवसायिक संगठनों की समस्याओं को वोरा ने गंभीरता से लेते हुए तत्काल छत्तीसगढ़ शासन के मुख्य सचिव आरपी मंडल से दूरभाष पर चर्चा की और व्यापारियों की समस्याओं की ओर ध्यान आकृष्ट किया। वोरा ने व्यापारियों को व्यवसाय प्रारंभ करने की अनुमति देने पर जोर दिया। वोरा ने दुर्ग के कलेक्टर डॉ.सर्वेश्वर भूरे से भी चर्चा की और व्यवसाइयों को कारोबार की अनुमति देने की मांग की। मुख्य सचिव आरपी मंडल व जिला कलेक्टर सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे ने विधायक अरूण वोरा को व्यापारी हित में आवश्यक कदम उठाने का आश्वासन दिया है। वोरा ने उम्मीद जताते हुए कहा कि जल्द ही व्यापारी हित में अच्छे फैसले आने की संभावना है। इस पर व्यापारियों ने वोरा के प्रति आभार जताया। प्रतिनिधिमंडल में जिला चेम्बर ऑफ कामर्स के कार्यवाहक अध्यक्ष किशोर जैन, राजेश नाहटा, थोक कपड़ा व्यापारी संघ अध्यक्ष महेन्द्र संचेती, सतीश श्रीश्रीमाल, राकेश संचेती, एवंता छाजेड़़, स्वरुप चोपड़ा, मोहन पारख, नवीन जैन, किशोर सखलेचा, प्रकाश श्रीश्रीमाल, आसनदास मोहनानी, दर्शन किंगरानी, अनूप मंगनानी, सुखदेव पंजवानी, कैलाश खत्री, भगत पंजवानी, संजय अंदानी, विक्की बजाज, सन्नी चोईथानी सहित अन्य व्यापारी शामिल थे।