
मुंबई। क्या ऐसा संभव हो सकता है कि भरी दोपहरी में सूर्य की रोशनी भी रहे और परछाई गायब हो जाए? ऐसा चमत्कार तो कोई जादूगर ही कर सकता है लेकिन वह भी अंतत: नजरों का धोखा होगा। लेकिन परछाई गायब होने के लिए किसी जादू की जरूरत नहीं है। यह स्वाभाविक रूप से संभव है। हालांकि ऐसा बहुत कम अवसरों पर होता है। दरअसल बुधवार को मुंबई ने 'जीरो शैडो डे' देखा। 'जीरो शैडो डे' तब घटित होता है जब सूर्य पृथ्वी की सतह पर 90 डिग्री के कोण पर होता है। ऐसे वक्त पर कुछ मिनटों के लिए छाया पूरी तरह से गायब हो जाती है. ऐसी घटना पृथ्वी पर साल में दो बार घटित होती है। यह घटना +23.5 डिग्री और - 23.5 डिग्री अक्षांश पर देखने को मिलती है। यही कारण रहा कि मुंबई के शिवाजी पार्क में क्रिकेट खेल रहे खिलाडिय़ों की कोई छाया नहीं बनी। साल में यह घटना पहली बार तब घटित होती है जब सूर्य कर्क रेखा के उत्तरी बिंदु के आखिर तक पहुंच जाता है। इसे ग्रीष्म संक्रांति के नाम से जाना जाता है। ऐसे ही जब सूर्य दक्षिण बिंदु के आखिर तक पहुंच जाता है तब दोबारा ऐसी घटना घटित होती है। मुंबई के अलावा 'जीरो शैडो डे' नई दिल्ली, बेंगलुरू, चेन्नई, जयपुर और मैंगलूरू में भी देखा गया। हालांकि इन सभी शहरों में 'जीरो शैडो डे'अलग-अलग समय पर देखा गया। सूर्य दोपहर के समय या तो थोड़ा दक्षिण की तरफ या फिर थोड़ा उत्तर की तरफ रहता है, लेकिन 'जीरो शैडो डे' के दिन सूर्य ठीक सिर के ऊपर होता है।
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